जल जीवन मिशन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में राजस्थान में 25 जगहों पर छापेमारी
सूत्रों ने बताया कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने कथित जल जीवन मिशन घोटाले में मनी लॉन्ड्रिंग जांच के तहत शुक्रवार को एक वरिष्ठ आईएएस अधिकारी के परिसरों सहित चुनावी राज्य राजस्थान में छापेमारी की।
जयपुर में 25 स्थानों पर छापेमारी की गई, जिसमें सार्वजनिक स्वास्थ्य इंजीनियरिंग (पीएचई) विभाग के आईएएस अधिकारी सुबोध अग्रवाल के ठिकाने भी शामिल थे।
सूत्रों ने कहा कि कुछ अन्य जुड़े लोगों को भी धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत कवर किया जा रहा है।
जांच एजेंसी ने इस मामले में सितंबर में भी इसी तरह की छापेमारी की थी।
मनी लॉन्ड्रिंग का मामला राजस्थान भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) की एफआईआर से उपजा है, जिसमें आरोप लगाया गया था कि श्री श्याम ट्यूबवेल कंपनी के मालिक पदमचंद जैन, श्री गणपति ट्यूबवेल कंपनी के मालिक महेश मित्तल और अन्य लोग लोक सेवकों को "रिश्वत देने" में शामिल थे। पीएचईडी से उनके द्वारा प्राप्त विभिन्न निविदाओं के संबंध में अवैध संरक्षण प्राप्त करने, निविदाएं प्राप्त करने, बिल स्वीकृत कराने और उनके द्वारा निष्पादित कार्यों के संबंध में अनियमितताओं को कवर करने के लिए।
ईडी ने पहले जारी एक बयान में आरोप लगाया था, "संदिग्ध अपने टेंडरों/अनुबंधों में उपयोग करने के लिए हरियाणा से चोरी किए गए सामान की खरीद में भी शामिल थे और उन्होंने पीएचईडी अनुबंध प्राप्त करने के लिए इरकॉन से फर्जी कार्य समापन पत्र भी जमा किए थे।"
केंद्र द्वारा शुरू किए गए जल जीवन मिशन का उद्देश्य घरेलू नल कनेक्शन के माध्यम से सुरक्षित और पर्याप्त पेयजल उपलब्ध कराना है। यह योजना राजस्थान में राज्य पीएचईडी द्वारा कार्यान्वित की जा रही थी।
राजस्थान में 200 सदस्यीय विधानसभा के लिए 25 नवंबर को मतदान होगा और वोटों की गिनती तीन दिसंबर को चार अन्य राज्यों मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, मिजोरम और तेलंगाना के साथ होगी।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आरोप लगाया है कि केंद्रीय एजेंसियां विपक्ष को निशाना बनाने के लिए केंद्र की भाजपा नीत सरकार के निर्देश पर काम कर रही हैं।